-पेयजल के लिए दिन भर परेशान रहे लोग
-कई मोहल्लों में जनरेटर के सहारे बहरी गयी पानी की टंकी
सीतापुर- बिजली कर्मचारियों की हड़ताल से पूरे जिले मे बिजली संकट गहरा गया है। जिला मुख्यालय से लेकर ग्रामीण इलाके तक बत्ती गुल हो गई। ऐसे में बिजली कर्मचारियों की हड़ताल खत्म होने से आम जनमानस ने राहत की सांस ली है। लोगों का कहना है कि इससे बिजली संकट दूर हो जाएगा।
हड़ताल की वजह से जिले में ग्रामीण इलाका अंधेरे में डूबा है। जिले के तमाम उपकेंद्रों से बिजली कर्मचारी नदारद थे। जिला मुख्यालय पर स्थापित कंट्रोल रूम में शिकायतों का अंबार लगा था। शिकायत पर शिकायत आ रही थीं, लेकिन समस्या का समाधान नहीं हो पा रहा था। हालत यह रही कि शहर से लेकर गांवों तक बिजली के उपकरण शो पीस बनकर रह गए थे। वहीं सबमर्सिबल आदि न चलने से लोगों को पेयजल तक की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। जिन स्थानों पर हैंडपंप लगे थे, वहां पर पानी लेने वालों की लाइन देखी गई। कुल मिलाकर सभी बिजली संकट से जूझ रहे थे। इधर रविवार दोपहर बाद जैसे ही लोगों को बिजली कर्मचारियों की हड़ताल खत्म होने की खबर मिली, लोग खुशी से झूम उठे।
पांच बजे बहाल हुई आपूर्ति
बिजली कर्मचारियों और प्रबंधन के बीच सुलह के बाद समय से पहले हड़ताल वापस लिए जाने के सभी बिजली कमर्चारी काम पर लौट आये| सीतापुर के शहरी इलाकों में तीन दिन से चरमराई विद्युत व्यवस्था रविवार शाम पांच बजे बहाल हो सकी| लाइट आने से लोगों ने राहत की सांस ली| बिजली न होने से पटरी से उतरी लोगों की दिनचर्या फिर से सामान्य होने की उम्मीद है| लाइट आने के बाद लोगों ने मोटर चलाकर सबसे पहले पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित की| कई लोगों ने अपने डिस्चार्ज हो चुके मोबाइल को चार्जिंग पर लगाकर प्रियजनों से हालचाल पूछा|
बिजली कर्मचारियों ने माला पहनाकर एक दूसरे को दी बधाई
आन्दोलनरत बिजलीकर्मियों ने ऊर्जा मंत्री एके शर्मा द्वारा सभी मांगे माने जाने के बाद हड़ताल वापस ले ली और एक दूसरे को माला पहनाकर सम्मानित करते हुए बधाई दी| विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष मोर्चा के संयोजक हिमांशु पटेल ने बताया कि आन्दोलन के दौरान सभी कर्मचारियों पर बहुत दबाव डाला गया लेकिन विद्युतकर्मियों की एकता के दम पर ही आज हमें ये जीत नसीब हुई है| बेपटरी हुई बिजली व्यवस्थ्का को सभी बिजलीकर्मी मुस्तैदी से जुटकर जल्द से जल्द पटरी पर लाने के प्रयास करेंगे|
लो वोल्टेज से फुंके उपकरण
रविवार को सुबह मिरदही टोला और मुंशी गंज समेत कई मोहल्लों में लाइट आई तो लोगों ने चैन की साँस ली लेकिन लाइट आने के कुछ देर बाद ही वोल्टेज बहुत कम हो गया| पेयजल की समस्या से जूझ रहे लोगों ने जैसे तैसे पानी का मोटर चलाकर पानी भरना चाहा लेकिन ट्रिपिंग और लो वोल्टेज से उनके सबमर्सिबल पम्प और कई अन्य उपकरण फुंक गये| उपकरण फुंकने से लोगों का हजारों का नुकसान होने की आशंका है|
किराये के जनरेटर से हुई पेयजल की व्यवस्था
बिजली संकट का सबसे ज्यादा असर पेयजल व्यवस्था पर पड़ा| पीने के पानी के लिए लोग तरसने को मजबूर हो गये| शहर के कई मोहल्लों में लोगों ने किराये के जनरेटर मंगा कर उससे सबमर्सिबल पम्प चलाया और टंकी भरी| मोहल्लों में लोगों के घरों में दस-दस मिनट के लिए जनरेटर कनेक्शन देकर पानी की टंकी भरवाई| शहर के शास्त्री नगर और नैपालापुर मोहल्लों में लोगों ने पैसे देकर जनरेटर के सहारे पेयजल की व्यवस्था की|